सर्व प्रथम अपनी सेवा और सहायता
प्रदीप कुमार पाण्डेय
November 10, 2024
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🔹 इसमें कोई सन्देह नहीं की इस जगत में अनेक प्रकार के पुण्य और परमार्थ हैं। हमारे शास्त्रों में अनेक प्रकार के धर्मिक अनुष्ठानों का सविस्तार विधि विधान है और उनके सुविस्तृत महात्म्यों का वर्णन है। दूसरों की सेवा सहायता करना पुण्य कार्य है, इससे कीर्ति आत्म संतोष तथा सद्गति की प्राप्ति होती है। परन्रतु इन सबसे बढ़ कर भी...